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आगामी 5 नवंबर से शहरी क्षेत्र के बेसहारा गोवंश और नंदी का प्रवेश होगा शुरू

अस्थाई रूप से बने चार गोष्ठ, करीब 100 एकड़ जमीन में गायों के लिए उगाया जाएगा हरा चारा

सिरोही(हरीश दवे)।

श्रीगोधाम महातीर्थ पथमेड़ा के द्वारा श्रीअर्बुदा गोनंदीतीर्थ में अब 5 नवंबर से शहरी क्षेत्र के बेसहारा गोवंश और नंदी का प्रवेश शुरू होगा। इसके लिए सर्वप्रथम सिरोही शहर से अभियान की शुरुआत होगी। अभियान के तहत नगर परिषद शहर के बेसहारा गोवंश और नंदी को पकड़कर श्रीअर्बुदा गोनंदीतीर्थ कालका जी तालाब में सुपुर्द करेंगे। प्रवेशोत्सव के दिन पूजा पाठ के साथ एक कार्यक्रम आयोजित होगा। इसको लेकर परम श्रद्धेय गोऋषि पथमेड़ा महाराजजी ने श्रीअर्बुद गोनन्दी तीर्थ का निरीक्षण कर अस्थाई चार गोष्ठ का जल्द से जल्द निर्माण करने के निर्देश दिए। जिसका कार्य युद्ध स्तर कर शुरू हो गया। गौऋषि दत्तशरणानंद जी महाराज ने मौजूद गौ सेवकों को संबोधित करते हुए कहा कि यह जीवन तो वैसे भी कट रहा है क्यों न हमें कुछ अच्छा करके धर्म से जुड़े कार्य करने चाहिए। सिरोही देवों की धरती है। इस धरती का देवताओं से विशेष जुड़ाव भी रहा है और यहां देने वाला देवता जैसा होता है, यहां तो दानवीर भी बहुत है। इस अवसर पर श्री रविंद्रानंद सरस्वती जी महाराज, श्री गोविंद वल्लभ जी महाराज, श्री दिन दयाल जी महाराज, श्री विट्ठल जी महाराज, विधायक संयम लोढ़ा, रघुनाथ माली, मैनेजिंग ट्रस्टी श्रवण पुरोहित, रवि शर्मा, अशोक पुरोहित, राजेंद्र नरूका, हरिसिंह मौजूद रहे।

बैठक में हरे चारे की आपूर्ति के लिए हुई चर्चा

आगामी 5 नवंबर को प्रथम चरण में शुरू होने वाले गोवंश व नंदी जी के प्रवेश उत्सव को लेकर एक बैठक आयोजित हुई। बैठक में गौ माता के लिए करीब 100 एकड़ में मकई, जो ज्वार व हरे चारे की पैदावार करने का निर्णय लिया गया। बैठक में मौजूद संचालन समिति के सदस्यों ने कई सुझाव दिए।

गोवंश मालिकों से शुरुआत के एक महीने तक करेंगे समझाइश

नगर परिषद की ओर से पकड़े गए बेसहारा घुमंतु गोवंशों को नंदी तीर्थ में सुपुर्द करने के बाद करीब एक महीने तक संचालन समिति द्वारा गोवंश के मालिकों को समझाइश कर अपने घुमंतु गोवंश के पालन के लिए प्रेरित करेंगे। इसके बाद नगर परिषद दुबारा गौनंदी तीर्थ को अगर वही गोवंश सुपुर्द करेगा तो उसकी एक जुर्माना राशि भी तय की जाएगी।

संपादक भावेश आर्य

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