रामझरोखा मैदान मे देवी का दरबार सजा, पूजा अर्चना व दर्शन को उमड़े श्रद्धालु

जगदम्बे मंडल ने की घट स्थापना, गरबो का हुआ आगाज
सिरोही(हरीश दवे)।

मां शक्ति की भक्ति के साथ आराधना के पर्व नवरात्र के अवसर पर प्रतिवर्ष की भांति जगदम्बे नवयुवक मण्डल रामझरोखा सिरोही के तत्वावधान मे 53 वें गरबा महोत्सव के तहत असुरनाशिनी मां शेरावाली माता जगदम्बा भवानी की विधि विधान से प्रतिमा विराजमान कर घट स्थापना धूमधाम से की गई। रात्रि को श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा और गरबो का भव्य आगाज हुआ।
मंडल के संरक्षक लोकेश खंडेलवाल के अनुसार नवरात्रि की स्थापना पर्व पर शंख नगाडो, ढोल धमाकों से वातावरण गुंजायमान रहा। रामझरोखा मैदान प्रांगण में बनाये अस्थाई मंदिर में पंडित जयेश जीवनलाल ओझा ने विधि विधान से मंत्रोच्चारण के बीच समस्त शहरवासियों के मंगलमय जीवन की कामना करते हुए जयकारे लगवाए और माता का आवाहन किया। मंडल के मुख्य संरक्षक सुरेश सगरवंशी, गिरीश सगरवंशी, गांधीभाई पटेल, लोकेश खंडेलवाल,राजेश गुलाबवाणी, रणछोड़राज पुरोहित, विजय पटेल एवं अध्यक्ष अतुल रावल सहित सभी सदस्यों ने धूमधाम से पूजा में भाग लेकर आरती संपन्न कराई। पंडाल में नो दिनों तक दुर्गा सप्तशती का पंडितो द्वारा पाठ का शुभारंभ किया गया। माता के अस्थाई मंदिर मे विराजमान की गई प्रतिमा जो अष्ट भुजाधारी जिनमें माता ने अस्त्र शस्त्र धारण कर रखे हैं तथा सिंह पर सवार होकर राक्षस महिषासुर का वध करते दिखाया गया है, यह प्रतिमा बंगाल के कुशल मूर्तिकार शंकर बंगाली ने तालाब की पवित्र माटी से तैयार की है जिसमें किसी भी प्रकार के केमिकल कलर या पीओपी का प्रयोग नहीं हुआ है।

रामझरोखा में आगामी नो दिनों तक गुजराती गरबा गीतों और मातारानी के गूंजते भजनों की स्वरलहरियों के बीच युवक- युवतियां व श्रद्धालु गरबा रास नृत्य करेंगे वहीं अन्य धार्मिक आयोजन आकर्षण का केंद्र होंगे। गरबा आयोजन को लेकर माता बहनों, युवक युवतियों में विशेष उत्साह है और मंडल ने भी उन सभी प्रतिभागियों के लिए विशेष आकर्षक पुरस्कारों की व्यवस्था की है। नवरात्र स्थापना पर्व पर रात्रि को पंडाल में श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ पड़ा जहां रोशनी की जगमगाहट और सुरीले गरबा गीतों से पंडाल सारोबार रहा। इससे पहले मंडल सदस्यों ने समीपवर्ती शक्तिपीठ आरासना अंबाजी से माता की अखंड ज्योत लाकर प्रांगण में 9 दिनों तक के लिए प्रज्वलित किया। इस मौके पर मंडल के प्रकाश प्रजापति, शैतान खरोर, रूपेंद्र शर्मा, तगसिंह राजपुरोहित, दिनेश प्रजापत, रुपेश शर्मा, पर्वतसिंह केपी, हरिश खत्री, महेंद्र सूर्यवंशी सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालु भक्तजन मौजूद रहे।



संपादक भावेश आर्य